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Engineer day 2021 in Hindi | इंजीनियर्स डे 2021 | अभियंता दिवस पर कविता | मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया जीवन परिचय

प्रत्येक वर्ष 15 सितम्बर को Engineer day(Engineer day 2021 in Hindi) मनाया जाता है। इंजीनियर्स डे मनाने का उद्देश्य भारत के महान इंजीनियर मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया के जन्म दिवस के अवसर पर मनाया जाता है। इसी दिन मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया को याद कर श्रद्धांजलि दी जाती है। मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया को इंजीनियर्स में अच्छे काम के लिए 1955 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया था। इंजीनियर्स डे पर विश्व के महान इंजीनियर्स को सम्मान दिया जाता है। भारत और विश्व बड़े डॉक्टरो, शिक्षक, इंजीनियर्स, माता को याद किया जाता है। इनकी याद में डॉक्टर्स दिवस, शिक्षक दिवस, मदर्स डे मनाया जाता है।

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अभियंता दिवस (इंजीनियर्स डे) (Engineer day 2021 in Hindi)

Engineer day 2021 in Hindi आज दुनिया भार के इंजीनियर्स और डॉक्टर ने देश और दुनिया में बहुत कुछ खोजकर व्यक्ति के काम को आसान कर दिया है। वर्तमान में दुनिया के हर क्षेत्र में इंजीनियर्स का नाम है। विश्व की प्रगति में इंजीनियर्स को काफी हाथ है। चाहे वह कोई भी फील्ड हो। तकनीकी ज्ञान बढ़ने से देश का विकास होता है। इससे समाज में बदलाव आता है अगर हम दो-तीन दशक पहले की बात करें तो देश काफी पिछड़ा हुआ था।

उदाहरण के तौर पर देख जाये तो आज हम सबके हाथ में स्मार्ट फोन है, अगर हम तीन-चार दशक पीछे जाये तो इतनी ज्यादा टेक्नोलॉजी नहीं थी। जो बदलाव वर्तमान समय में देखा जा रहा है। टेक्नोलॉजी की बात करें तो आज इतना बदलाव आ गया है कि हम घर बैठ सामानों की खरीददारी, मोबाइल का बिल, लाइट बिल, रेल टिकट, हवाई टिकट जैसे बिल को घर बैठ भर सकते है।

अगर हम कुछ समय पहले बात करें तो लोग एक दूसरे से पत्राचार के माध्यम से बात करते थे। जिसका जबाव तीन-चार दिन या कभी-कभी एक सप्ताह से अधिक समय लग जाता था। किन्तु आज टेक्नोलॉजी का समय है। जहाँ आप मोबाइल फोन के जरिये एक मिनट में अपने दोस्तों या रिश्तेदारों से बात या SMS कर सकते है। इस तरह के विकास का श्रेय इजीनियर्स को जाता हैं।

ये तो सिर्फ एक नमूना है, ऐसे कई क्षेत्रों में देश के इंजीनियर्स ने विकास पर काम किया है। चाहे वह टेक्नोलॉजी का क्षेत्र हो या परमाणु आविष्कार हो। इंजीनियर्स ने अपना योगदान दिया है।

क्यों मनाया जाता है इंजीनियर्स डे

इंजीनियर्स डे भारत के प्रसिद्ध इंजीनियर सर मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया की याद में मनाया जाता है। इस दिन उन्हें याद कर सर मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया का जन्म दिन मनाया जाता है।

इस दिवस को मनाने का उद्देश्य देश के युवाओं को इंजीनियरिंग के प्रति जागरूक करना है। इंजीनियरिंग स्कूलों में इस दिन तरह-तरह के प्रोग्राम आयोजित किया जाता है।

इंजीनियर्स डे 2021

साल 2021 में  सर मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया का 160वां जन्म दिन मनाया जा रहा है। साल 2020 में इसका 159वां जन्म दिन मनाया गया था। साल 2018 की थीम  “एक विकासशील भारत में इंजीनियरों की भूमिका” था।

इंजीनियर्स डे शायरी

किताबें खुली हो या हो बन्द
पढ़ाई देर रात होती है,
कैसे कहूं मैं ओ यारा ये
इंजीनियरिंग में ऐसा होता है।।

दुख तब नहीं होता
जब दोस्त फेल हो जाये
दुख तब होता है जब
दोस्त टॉप कर जाये
इंजीनियरिंग ये होती है यारा

दिलों में अपनी बेतिबियां,
नज़र में खव्वाबों की बिजलियां और
4-5 बैकलॉग लेकर चल रहे हो
तो इंजीनियर हो तुम,
हैप्पी इंजीनियर्स डे

हर रात भर जागने वाला आशिक नहीं,
क्या पता कल इंजीनियर्स का एग्जाम हो।।

मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया जीवन परिचय (Mokshagundam Visvesvaraya biography in hindi)

1.       पूरा नाममोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया
2.       जन्म15 सितम्बर, 1860
3.       जन्म स्थानमुद्देनाहल्ली गाँव, कोलर जिला, कर्नाटका
4.       माता-पितावेंकचाम्मा – श्री निवास शास्त्री
5.       मृत्यु14 अप्रैल 1962

मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया जीवन परिचय

मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया का जन्म 15 सितम्बर, 1862 में कर्नाटक के कोलर जिला के मुद्देनाहल्ली गाँव में हुआ था। उनके पिता का नाम श्री निवास शास्त्री तथा माता का नाम वेंकचाम्मा है। उनके पिता एक विद्वान संस्कृत और आयुर्वेद चिकित्सक थे। माता जी एक धार्मिक महिला है। मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया जब 15 वर्ष के थे तब उनके पिता जी का देहांत हो गया था।

Engineer day 2021 in Hindi
Engineer day 2021 in Hindi

इसकी प्रारम्भिक पढ़ाई चिकबल्लापुर प्राइमरी स्कूल से हुई। उच्च शिक्षा के लिए बैंग्लौर चले गये और 1881 में विश्वेश्वरैया ने मद्रास यूनिवर्सिटी के सेंट्रल कॉलेज, बैंग्लोर से बीए की परीक्षा पास की। इंजीनियरिंग के लिए मद्रास सरकार ने छात्रवृत्ति दी जिससे उन्हें पूना साइंस कॉलेज से इंजीनियरिंग की पढ़ाई की। 1883 में LCE और FCE में एग्जाम पास किया और पहला स्थान प्राप्त किया। जो इस समय BE के नाम से जाना जाता है।

मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया का कैरियर

इंजीनियरिंग की परीक्षा पास करने बाद बाम्बे तरफ से नौकरी का ऑफर मिला, नासिक में बतौर इंजीनियर ऑसिटेन्ट का काम मिला। इंजीनियर के तौर पर उन्होंने बहुत अच्छे-अच्छे काम किये थे। उन्होंने सिन्धु नदी से पानी की सप्लाई सुक्कुर गाँव तक करवाई, साथ ही एक नई सिंचाई प्रणाली ‘ब्लाक सिस्टम’ को शुरू किया। बांध पर पानी नियंत्रित करने के लिए स्टील के दरवाजे लगवाये। जिससे बांध के पानी के प्रवाह को आसान किया जा सके।

एम् विश्वेश्वरैया जी अवार्ड

स्वतंत्रता प्राप्ति के बाद 1955 में विश्वेश्वरैया जी को भारत के सबसे बड़े सम्मान ‘भारत रत्न’ से सम्मानित किया गया था।
लन्दन इंस्टीट्यूशन सिविल इंजीनियर्स की तरफ से भी विश्वेश्वरैया जी को सम्मान दिया गया था।
इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ़ साइंस की तरह से भी विश्वेश्वरैया जी को सम्मानित किया गया।
विश्वेश्वरैया जी कर्नाटका के सबसे प्रसिद्ध लोगों में से एक है।
इसके अलावा देश के आठ अलग अलग इंस्टिट्यूट के द्वारा उन्हें डोक्टरेट की उपाधि दी गई।
विश्वेश्वरैया जी के 100 साल के होने पर भारत सरकार ने उनके सम्मान में स्टाम्प निकाला।

FAQ’s

Q. इंजीनियर डे कब मनाया जाता है?

Ans : 15 सितम्बर को इंजीनियर्स डे मनाया जाता है।

Q. अभियंता दिवस कब मनाया जाता है?

Ans : अभियंता दिवस 15 सितम्बर को मनाया जाता है।

Q. इंजीनियर्स डे थीम 2021 क्या है?

Ans :

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Experienced Content Writer with a demonstrated history of working in the education management industry. Skilled in Analytical Skills, Hindi, Web Content Writing, Strategy, and Training. Strong media and communication professional with a B.sc Maths focused in Communication and Media Studies from Dr. Ram Manohar Lohia Awadh University, Faizabad.

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